रविवार, 26 मार्च 2017

बेटा :- पापा ये नया साल २ बार क्यों आता है.??

पिता :- नहीं बेटा..
नया साल तो एक बार ही आता है ।
साल में 1 जनवरी को...

बेटा :- नही पापा..
एक भैया घर पर आकर
एक झंडा दे गए हैं
केसरिया रंग का..
और बोले इसको नए साल के दिन सुबह अपने घर की छत पर लगाना...।

पिता :- ओह हो बेटा..
वो संघ शाखा और विश्व हिन्दू परिषद बजरँगदल वाले होंगे..
वो ये
"हिन्दु वाला"
नया साल मनाते है...

बेटा आश्चर्य से पिता की ऒर देखकर जो कहता है
वो शायद हमारी आँखे खोल दे.??

"पापा इसका मतलब क्या हम हिन्दु नहीं है".??

क्या हम अपनी दिवाली, दशहरा, होली, राखी, तीज, गणगौर नहीं मनाते.??

तो फिर हम अपना नया साल सिर्फ अंग्रेजों वाला ही क्यों मनाये.??

क्युँ नही हम पहले अपना "हिन्दु नव वर्ष" मनाये.??

पिता :- कुछ सोचकर..
बेटा तेरी बात तो एकदम सही है..
ठीक है
जा बेटा लगा दे
अपना केसरिया भगवा झंडा घर के ऊपर और
तेरी माँ से कह दे की
हमारे हिन्दु नव वर्ष पर खीर पुड़ी भी बना लेवे..

भई हम हिन्दुओं का अपना तो यही नया साल है ;

कुछ मीठा भी तो होना ही चाहिये

विदेशी नववर्ष पे कैसा हर्ष
आओ मनाये भारतीय नववर्ष

हिन्दू नववर्ष,

बुधवार 29 मार्च 2017

       
🚩 जय जय श्री राम 🚩

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