मंगलवार, 15 नवंबर 2016

व्यक्तिगत रूप से आप *बीजेपी के विरोधी* हो सकते हैं।

बीजेपी की नीतियों के विरोधी हो सकते हैं ये एक सामान्य प्रकिया है..
और इसमें कुछ गलत भी नहीं है...

           परंतु आप आलोचक की हद को पार करके *घृणित-निंदक* बनकर *PM की आलोचना* कैसे कर सकते हैं...?😳

               आप उस व्यक्ति की आलोचना कर रहे हैं जो लगभग 15 सालों से CM के बाद, अब PM रहते हुए भी अपनी सैलेरी राष्ट्र को दान करता आ रहा है PM हाउस में अपना खर्चा स्वं उठाता आ रहा है..।

             *Pm की निंदा-रस* में डूबते समय क्या आपको खयाल आया है कि क्या आपने कभी 1 महीने की सैलेरी राष्ट्र को दान किया है...?🤔😳🤔

    ₹-240 की LPG-Subsidy तो आप छोड़ नहीं पाते, बाकी.. क्या आप में हिम्मत है 1 साल की सैलेरी *राष्ट्र को दान कर दें...?*

         तो फिर आप उस व्यक्ति की निंदा कैसे कर सकते हैं जो 15 सालों से ये सब करता आ रहा है....?🤔😳😰😡

            3 बार गुजरात का CM रहने के बावजूद किसके पास कोई *बड़ी संपत्ति नहीं* है, परिवार को भी जिसने VIP सुविधाओं से महरूम कर रखा है ।

       जिस PM के विदेशी दौरों को आप सिर्फ घूमने फिरने का नाम देते हैं जबकि असली उदेश्य *व्यापारिक समझौते और आपसी सम्बन्ध को सुधारना* होता है।

        एक 66 साल का व्यक्ति 6 दिन में 5 देशों की यात्रा करता 40 महत्वपूर्ण मीटिंग में भाग लेता है। *देश का पैसा बचाने के लिए* ऐसी प्लानिंग करता है जिससे होटल में कम से कम रुका जाए, और, फ्लाइट में नींद पूरी की जाये....
उसके दौरे को आप सिर्फ भ्रमण का नाम देते हैं..?😳

              *वैश्विक मंदी और ख़राब मौसम की मार* झेलने की बाद भी देश पर आंशिक प्रभाव पड़ा है...
और *देश आगे बढ़ रहा है*, क्या इतना काफी नहीं है..?


                  अगली बार PM की निंदा करने से पहले *अपने गिरेबान में झांककर देखें* और-
अपने आप से तुलना करें कि जिसकी आप निंदा कर रहे हैं, क्या उसके *पैरों की धूल के बराबर* आप हैं या नहीं..?🤔😰😡

                   कितने शर्म की बात है.....
एक तरह जिस व्यक्ति को *सारा विश्व सम्मान दे रहा है*....
वहीं दूसरी तरफ कुछ लोग (जो उसी देश के हैं) उसी सम्मान को गलत साबित करने
 हम सब *बलिदान* ना सही पर *देश के लिए इस छोटा सा काम तो कर ही सकते हैं ना:*

*देश को नहीं, पहले खुद को बदलें।*


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