बुधवार, 20 अक्तूबर 2021

कार्तिक कथा* कार्तिक के समय भगवान विष्णु ने देवताओ को जालंधर राक्षस से मुक्ति दिलाई थी, साथ ही मत्स्य का रूप धरकर वेदों की रक्षा की थी. इस प्रकार कार्तिक में कई कथायें हैं


 
*🔱कार्तिक माह का महत्व🔱*
कार्तिक हिंदी पंचाग का आँठवा महिना है, कार्तिक के महीने में दामोदर भगवान की पूजा की जाती हैं. यह महिना शरद पूर्णिमा से शुरू होकर कार्तिक पूर्णिमा तक चलता है, जिसके बीच में कई विशेष त्यौहार मनाये जाते हैं*
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*🟤ब्रह्म मुहूर्त में कार्तिक स्नान का महत्व*🔔

*इस माह में पवित्र नदियों में ब्रह्ममुहूर्त में स्नान का बहुत अधिक महत्व होता हैं. घर की महिलायें सुबह जल्दी उठ स्नान करती हैं, यह स्नान कुँवारी एवम वैवाहिक दोनों के लिए श्रेष्ठ हैं.*
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*इसी माह में आती है देवोत्थान एकादशी ,तुलसी सालिग्राम विवाह*
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*इस माह की एकादशी जिसे प्रबोधिनी एकादशी अथवा देव उठनी एकादशी कहा जाता हैं इसका सर्वाधिक महत्व होता है, इस दिन भगवान विष्णु चार माह की निंद्रा के बाद उठते हैं जिसके बाद से मांगलिक कार्य शुरू किये जाते हैं.*
*इस महीने तप एवम पूजा पाठ उपवास का महत्व होता है, जिसके फलस्वरूप जीवन में वैभव की प्राप्ति होती है. इस माह में तप के फलस्वरूप मोक्ष की प्राप्ति होती हैं.इस माह के श्रद्धा से पालन करने पर दीन दुखियों का उद्धार होता है, जिसका महत्त्व स्वयम विष्णु ने ब्रह्मा जी से कहा था.इस माह के प्रताप से रोगियों के रोग दूर होते हैं जीवन विलासिता से मुक्ति मिलती हैं.*

*🪔कार्तिक मास में दीपदान 🪔*

*कार्तिक माह में दीप दान का महत्व होता हैं. इस दिन पवित्र नदियों में, मंदिरों में दीप दान किया जाता हैं. साथ ही आकाश में भी दीप छोड़े जाते हैं. यह कार्य शरद पूर्णिमा से शुरू होकर कार्तिक पूर्णिमा तक चलता हैं. दीप दान के पीछे का सार यह हैं कि इससे घर में धन आता हैं. कार्तिक में लक्ष्मी जी के लिए दीप जलाया जाता हैं और संकेत दिया जाता हैं अब जीवन में अंधकार दूर होकर प्रकाश देने की कृपा करें. कार्तिक में घर के मंदिर, वृंदावन, नदी के तट एवम शयन कक्ष में दीपक लगाने का माह्त्य पुराणों में निकलता हैं*

*🍃कार्तिक माह से तुलसी का महत्व*🍃 

*कार्तिक में तुलसी की पूजा की जाती हैं और तुलसी के पत्ते खाये जाते हैं. इससे शरीर निरोग बनता हैं. ब्रह्म मुहूर्त में उठकर स्नान करके सूर्य देवता एवम तुलसी के पौधे को जल चढ़ाया जाता हैं. कार्तिक में तुलसी के पौधे का दान दिया जाता*
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     *कार्तिक माह में दान :*
*🌿गो माता को हरे चारे के दान का विशेष महत्व*🌿

*कार्तिक माह में दान का भी विशेष महत्व होता हैं. इस पुरे माह में गो सेवा ,हरे चारे, गरीबो एवम ब्रह्मणों को दान दिया जाता हैं. इन दिनों में तुलसी दान, अन्न दान, गाय दान एवम आँवले के पौधे के दान का महत्व सर्वाधिक बताया जाता हैं. कार्तिक में पशुओं को भी हरा चारा खिलाने का महत्व होता हैं.*

         *कार्तिक में भजन*
कार्तिक माह में श्रद्धालु मंदिरों में भजन करते हैं. अपने घरों में भी भजन करवाते हैं. आजकल यह कार्य भजन मंडली द्वारा किये जाते हैं. इन दिनों रामायण पाठ, भगवत गीता पाठ आदि का भी बहुत महत्व होता हैं. इन दिनों खासतौर पर विष्णु एवम कृष्ण भक्ति की जाती हैं. इसलिए गुजरात में कार्तिक माह में अधिक रौनक दिखाई पड़ती हैं.*

   *📙कार्तिक पूजा विधि नियम*📙
कार्तिक माह में कई तरह के नियमो का पालन किया जाता है, जिससे मनुष्य के जीवन में त्याग एवम सैयम के भाव उत्पन्न होते हैं.

पुरे माह मॉस, मदिरा आदि व्यसन का त्याग किया जाता हैं. कई लोग प्याज, लहसुन, बैंगन आदि का सेवन भी निषेध मानते हैं.
इन दिनों फर्श पर सोना उपयुक्त माना जाता हैं कहते हैं इससे मनुष्य का स्वभाव कोमल होता हैं उसमे निहित अहम का भाव खत्म हो जाता हैं.
कार्तिक में ब्रह्म मुहूर्त में स्नान किया जाता हैं.
तुलसी एवम सूर्य देव को जल चढ़ाया जाता हैं.
काम वासना का विचार इस माह में छोड़ दिया जाता हैं.ब्रह्मचर्य का पालन किया जाता हैं.
इस प्रकार पुरे माह नियमो का पालन किया जाता हैं.

         *कार्तिक कथा*
कार्तिक के समय भगवान विष्णु ने देवताओ को जालंधर राक्षस से मुक्ति दिलाई थी, साथ ही मत्स्य का रूप धरकर वेदों की रक्षा की थी. इस प्रकार कार्तिक में कई कथायें हैं. कार्तिक माह में कई विशेष तिथी एवम कथाये होती हैं जो निम्नानुसार हैं :*

*🔔कार्तिक मास के त्यौहार*🔔

*1- करवाचौथ : कृष्ण पक्ष चतुर्थी*
*2 -अहौई अष्टमी एवम कालाष्टमी : कृष्ण पक्ष अष्टमी*
*3 -रामा एकादशी*
*4- धन तेरस*
*5- नरक चौदस*
*6 -दिवाली, कमला जयंती*
*7 -गोवर्धन पूजा अन्नकूट*
*8 -भाई दूज / यम द्वितीया : शुक्ल पक्ष द्वितीय*
*9 -कार्तिक छठ पूजा*
*10- गोपाष्टमी*
*11 -अक्षय नवमी/ आँवला नवमी, जगदद्त्तात्री पूजा*
*12- देव उठनी एकादशी/ प्रबोधिनी*
*13 -तुलसी विवाह
*ठाकुर बांके बिहारी लाल की जय !!*


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