बुधवार, 25 मई 2016

 जय श्री कृष्ण👏 जय श्री कृष्णएक बार की बात है महाभारत के युद्ध के बाद भगवानश्री कृष्ण और अर्जुन द्वारिका गये पर इस बार रथअर्जुन चलाकर के ले गये। द्वारिका पहुँचकर अर्जुन बहुतथक गये इसलिए विश्राम करने के लिए अतिथि भवन मेंचले गये।शाम के समय रूक्मनी जी ने कृष्ण को भोजनपरोसा तो कृष्ण बोले घर में अतिथि आये हुए है हम उनकेबिना भोजन कैसे कर ले।रूक्मनी जी ने कहा भगवन आपआरंभ करिये मैं अर्जुन को बुलाकर लाती हूँ ।जैसे ही रूक्मनी जी वहाँ पहुँची तो उन्होंने देखा कि अर्जुनसोये हुए हैं और उनके रोम रोम से कृष्ण नाम की ध्वनिप्रस्फुटित हो रही है तो ये जगाना तो भूल गयीं और मन्द मन्दस्वर में ताली बजाने लगी । इधर नारद जी ने कृष्ण से कहाभगवान भोग ठण्डा हो रहा है कृष्ण बोले अतिथि के बिनाहम नहीं करेंगे। नारद जी बोले मैं बुलाकर लाता हूँ नारद जीने वहां का नजारा देखा तो ये भी जगाना भूल गये और इन्होंनेवीणा बजाना शुरू कर दिया । इधर सत्यभामा जी बोली प्रभुभोग ठण्डा हो रहा है आप प्रारंभ तो करिये । भगवान बोलेहम अतिथि के बिना नहीं कर सकते ।सत्यभामा जी बोलीं मैंबुलाकर लाती हूँ । ये वहाँ पहुँची तो इन्होंने देखा कि अर्जुन सोये हुए हैं और उनका रोम रोम कृष्ण नाम का कीर्तन कररहा हैऔर रूक्मनी जी ताली बजा रही हैं नारद जी वीणा बजा रहे हैं तो ये भी जगाना भूल गयीं और इन्होंने नाचना शुरू कर दिया । इधर भगवान बोले सब बोल के जाते हैंभोग ठण्डा हो रहा हैपर हमारी चिन्ता किसी को नहीं हैचलकर देखता हूँ वहाँ ऐसा क्या हो रहा है जो सब हमको ही भूल गये। प्रभु ने वहाँ जाकर के देखा तो वहाँ तो स्वर लहरी चल रही है ।अर्जुन सोते सोते कीर्तन कर रहे हैं,रूक्मनी जी ताली बजा रही हैं, नारद जी वीणा बजा रहे हैं,और सत्यभामा जी नृत्य कर रही हैं । ये देखकर भगवान केनेत्र सजल हो गये और मेरे प्रभु ने अर्जुन के चरण दबानाशुरू कर दिया । जैसे ही प्रभु के नेत्रों से प्रेमा श्रुओ की बूँदेंअर्जुन के चरणों पर पड़ी तो अर्जून छटपटा के उठे और बोले प्रभु ये क्या हो रहा है । भगवान बोले, अर्जुन तुमने मुझे रोमरोम में बसा रखा है इसीलिए तो तुम मुझे सबसे अधिक प्रियहो और गोविन्द ने अर्जून को गले से लगा लिया।।।लीलाधारी तेरी लीलाभक्त भी तूभगवान भी तूकरने वाला भी तूकराने वाला भी तूबोलिये भक्त और भगवान की जय।। प्यार से बोलो  जय श्री कृष्ण🙏 जय श्री कृष्ण  👏 जय श्री कृष्ण🙏 जय श्री कृष्ण 👏 जय श्री कृष्ण👣👏चरण उनके ही पूजे जाते हैं, जिनके आचरण पूजने योग्य होते हैं। 👣👏

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